JNU Violence: कोविड के बाद कई दिनों बाद खुला जेएनयू में एक बार फिर छात्रों के बीच हिंसक झड़प हुई है। खबरों के मुताबिक अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के स्टूडेंट्स और लेफ्ट के स्टूडेंट्स के बीच हॉस्टल में मीट बैन को लेकर झगड़ा हुआ जो हिंसक हो गया। इस झड़प में कई छात्रों को गंभीर चोट आई है।
दरअसल घटना जेएनयू के कावेरी ह़ॉस्टल (JNU Kaveri Hostel) की बताई जा रही है, जहां कुछ छात्र नवरात्री के चलते हॉस्टल में मीट बैन का विरोध कर रहे थे। एबीवीपी से संबंधित कुछ छात्रों ने नॉन वेज फूड का समर्थन कर रहे छात्रों पर हमला बोल दिय़ा। जबकि एबीवीपी के अनुसार उप पर भी लेफ्ट के छात्रों ने हमला बोला जिसमें उनके साथी रविराज को गंभीर चोट आई है।
जेएनयू एक बार फिर राजनीति का केंद्र बन गया है। आपको बता दें कि इससे पहले भी जेएनयू में छात्रों के बीच गंभीर(JNU Violence) झड़प हुई थी। दूसरे कॉलेज से आए एबीवीपी के कुछ लोगों ने जेएनयू के छात्रों को बुरी तरह पीटा था। यह मामला इतना बढ़ गया था कि कई दिनों तक बवाल चला था। इसके बाद इन छात्रों पर पहचान हो जाने के बाद भी दिल्ली पुलिस ने कोई कार्रवाई नहीं की थी। इस घटना के आरोपी आज तक खुलेआम घूम रहे हैं। इससे एक मैसेज गया कि एबीवीपी के छात्रों को कोई हाथ नहीं लगा सकता।
इस तरह की घटना का दोहराव बताता है कि किस तरह जुर्म में कार्रवाई न होने से खास विचारधारा के छात्रों के हौंसले बढ़े हुए हैं। जेएनयू कई दिनों तक शांत रहा। इस तरह की घटना कई सवाल खड़े करती है।
यह सारा विवाद पब्लिक युनीवर्सिटी में किसी खास धर्म के त्यौहार के लिए बाकि छात्रों को अपने पसंद के भोजन से वंचित करने को लेकर पैदा हुआ। दिल्ली में भी नवरात्र के दौरान मीट की बिक्री बंद करने को लेकर विवाद हुआ। लेकिन बाद में इसे लागू नहीं किया जा सका।
एबीवीपी के छात्र भी गंभीर रुप से घायल हुए हैं। इस मामले में हिंसा पहले किसने की, यह तो जांच के बाद ही पता चलेगा। हालांकि जांच तो अभी पिछले केस की भी पूरी नहीं हो पाई है।
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