बजट सत्र के पहले दिन राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद (Ramnath Kovind) ने अपने अभिभाषण में कहा कि संसद ने नागरिकता संशोधन कानून (CAA) बनाकर महात्मा गांधी के विचारों का सम्मान किया है। जैसे सी राष्ट्रपति ने अपने अभिभाषण में ये बात बोली तो विपक्षी सदस्यों ने हंगाम इसका विरोध करते हुए संसद में हंगामा शुरू कर दिया।
नागरिकता क़ानून पर बोलते हुए राष्ट्रपति ने कहा कि ये सीएए बहुत ही ऐतिहासिक है। इसने महात्मा गांधी के सपने को पूरा कर दिया। देश भर सीएए पर हो रहे प्रदर्शन और हिंसा की ओर इशारा करते हुए कहा कि विरोध प्रदर्शनों के दौरान हिंसा से लोकतंत्र कमजोर हो जाता है। राष्ट्रपति ने आगे कहा कि संसद ने नई सरकार के गठन के बाद पहले सात महीनों में कई ऐतिहासिक कानून पारित कर रिकॉर्ड बनाया है। उन्होंने कहा कि सरकार इस दशक को भारत का दशक बनाने के लिए मजबूत कदम उठा रही है।
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राष्ट्रपति ने कहा कि संसद ने नागरिकता संशोधन कानून बनाकर गांधी के विचारों का सम्मान किया है। महात्मा गांधी ने कहा था कि जो लोग पाकिस्तान में नहीं रह सकते, वे भारत आ सकते हैं। हालांकि इस दौरान विपक्षी सदस्यों ने हंगामा करते हुए इसका कड़ा विरोध किया । देश की आर्थिक हालात पर बोलते हुए राष्ट्रपति ने कहा कि सरकार देश की अर्थव्यवस्था को पांच हजार अरब डालर की अर्थव्यवस्था बनाने के लिए पूरी करह से प्रतिबद्ध है।
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राष्ट्रपति ने पाकिस्तान में अल्पसंख्यकों पर हो रहे कथित अत्याचारों की आलोचना की तथा विश्व समुदाय से इस संबंध में आवश्यक कदम उठाने की अपील की। उन्होंने कहा कि सभी धर्मों के लोगों को नागरिकता देने का प्रावधान वैसा ही है जैसा कि पहले था। उन्होंने कहा कि देश के लोग खुश हैं कि जम्मू-कश्मीर, लद्दाख को सात दशक बाद देश के बाकी हिस्सों के बराबर अधिकार मिले ।
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