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Union Budget 2025: कृषि और पर्यावरण से जुड़ी महत्वपूर्ण घोषणाओं और योजनाओं के बारे में जाने

केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण संसद में वित्त वर्ष 2025-26 के लिए भारत सरकार का बजट पेश कर रही हैं। इस ब्लॉग में हम कृषि, पर्यावरण और स्वास्थ्य से जुड़ी हुई घोषणाओं के बारे में जानकारी अपडेट कर रहे होंगे।

By Ground Report Desk
New Update
Agriculture Budget 2024

latest agriculture updates. Photograph: (Ground Report)

केंद्रीय वित्त मंत्री द्वारा प्रस्तुत बजट 2025 में भारत के कृषि, जलवायु और स्वास्थ्य क्षेत्रों को कितनी प्राथमिकता दी गई है? इस बजट में किसानों की आय बढ़ाने, जलवायु परिवर्तन से निपटने और स्वास्थ्य सेवाओं को सुलभ बनाने के लिए क्या महत्वपूर्ण घोषणाएं की गई हैं? सरकार ने टिकाऊ कृषि, हरित ऊर्जा निवेश और सस्ती व आधुनिक स्वास्थ्य सुविधाओं पर कितना ध्यान दिया है? इन सभी सवालों के जवाब देने के लिए हम इस ब्लॉग में लगातार जानकारी साझा कर रहे हैं।

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हम बजट 2025 में कृषि सुधारों, जलवायु अनुकूल नीतियों और स्वास्थ्य क्षेत्र में हुई बड़ी घोषणाओं का विश्लेषण करेंगे और जानेंगे कि ये नीतियां देश की अर्थव्यवस्था और आम नागरिकों के जीवन को कैसे प्रभावित करेंगी?

अपडेट के लिए लगातार रिफ्रेश करते रहें।

  • Feb 01, 2025 13:48 IST

    कृषि क्षेत्र को मिला 1.71 लाख करोड़ का बजट, PM धन-धान्य योजना की घोषणा

    वित्त मंत्री ने कृषि क्षेत्र के लिए कई महत्वपूर्ण घोषणाएं कीं। आइए जानें प्रमुख आंकड़े:

    बजट आवंटन:

    • कृषि क्षेत्र को 2025-26 के लिए 1.71 लाख करोड़ रुपये आवंटित हुए

    • पिछले साल के 1.40 लाख करोड़ के मुकाबले 31,000 करोड़ की बढ़ोतरी

    PM धन-धान्य कृषि योजना की घोषणा:

    • यह योजना देश के 100 जिलों में लागू होगी

    • इससे 1.7 करोड़ किसानों को लाभ मिलेगा

    • योजना के तहत कम उत्पादकता वाले क्षेत्रों पर विशेष ध्यान दिया जाएगा

    पिछले 10 सालों में कृषि आय में 5.23% की वार्षिक वृद्धि

    • 2017-23 के बीच औसत विकास दर 5% रही

    • 2024-25 की दूसरी तिमाही में 3.5% की वृद्धि

    • पिछले एक दशक में कृषि आय में 5.23% की वार्षिक वृद्धि

    • खरीफ खाद्यान्न उत्पादन 2024 में 1647.05 लाख मीट्रिक टन का अनुमान

    • पिछले साल की तुलना में 89.37 लाख मीट्रिक टन की वृद्धि

    PM किसान योजना में मंत्रालय ने 2018 से अब तक औसतन बजट के 86% फंड का ही उपयोग किया है।



  • Feb 01, 2025 13:17 IST

    स्वास्थ्य क्षेत्र के लिए 98,311 करोड़ रुपये, कैंसर मरीजों को मिलेगी बड़ी राहत

    वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने वित्त वर्ष 2025-26 के बजट में स्वास्थ्य क्षेत्र के लिए कई बड़ी घोषणाएं की हैं। इस साल स्वास्थ्य क्षेत्र के लिए 98,311 करोड़ रुपये का प्रावधान किया गया है।  जो पिछले साल की तुलना में 9,024 करोड़ रुपये से अधिक है।

    महत्वपूर्ण आंकड़े:

    • कुल स्वास्थ्य बजट: 98,311 करोड़ रुपये

    • फार्मा उद्योग के लिए पीएलआई (Production Linked Incentive) योजना: 2,445 करोड़ रुपये

    • आयुष्मान भारत योजना: 9,406 करोड़ रुपये

    • PM आयुष्मान भारत स्वास्थ्य अवसंरचना (infrastrure) मिशन: 4,200 करोड़ रुपये

    प्रमुख घोषणाएं:

    • 2025-26 में 200 नए कैंसर केंद्र स्थापित होंगे

    • सभी जिला अस्पतालों में डे-केयर कैंसर सेंटर खुलेंगे

    • अगले साल 10,000 नई मेडिकल सीटें जुड़ेंगी

    • अगले 5 सालों में कुल 75,000 नई मेडिकल सीटें जोड़ने का लक्ष्य

    विशेष उपलब्धि:

    • पिछले 10 सालों में 1.1 लाख नई मेडिकल सीटें जुड़ीं

    • मेडिकल सीटों में 130% की वृद्धि हुई

    इन घोषणाओं से स्वास्थ्य सेवाओं में सुधार, मेडिकल शिक्षा का विस्तार और कैंसर रोगियों को बेहतर इलाज की सुविधा मिलने की उम्मीद है। साथ ही, फार्मास्युटिकल क्षेत्र को विशेष प्रोत्साहन से दवा निर्माण में आत्मनिर्भरता बढ़ेगी।

     



  • Feb 01, 2025 12:51 IST

    जीवनरक्षक दवाइयों के आयात पर मिली बड़ी राहत

    वित्त मंत्री ने जीवनरक्षक दवाइयों (lifesaving drugs and medicines) के आयात को सस्ता करने का ऐलान किया है।

    महत्वपूर्ण घोषणाएं:

    • 36 जीवनरक्षक दवाइयों पर सीमा शुल्क से पूरी छूट

    • 37 अन्य दवाइयों को भी मिलेगी छूट

    • 13 नए मरीज सहायता कार्यक्रमों के तहत मुफ्त दवाइयों पर भी छूट

    यह कदम मरीजों के लिए बड़ी राहत लेकर आएगा। विशेष रूप से वे दवाइयां जो मरीजों को मुफ्त में दी जाती हैं, उन पर कोई सीमा शुल्क नहीं लगेगा। इससे गंभीर बीमारियों से जूझ रहे मरीजों को सस्ती दवाइयां मिल सकेंगी और उनका इलाज किफायती हो जाएगा।



  • Feb 01, 2025 12:47 IST

    महत्वपूर्ण खनिजों पर सीमा शुल्क में पूरी छूट का प्रस्ताव

    वित्त मंत्री ने कोबाल्ट पाउडर, लिथियम-आयन बैटरी के कचरे और स्क्रैप समेत 12 अन्य महत्वपूर्ण खनिजों पर बुनियादी सीमा शुल्क (basic customs duty) से पूरी छूट का प्रस्ताव रखा है।

    प्रमुख बिंदु:

    • कुल 14 महत्वपूर्ण खनिजों पर मिलेगी सीमा शुल्क में छूट

    • देश में विनिर्माण (manufacturing) को बढ़ावा देने का लक्ष्य

    • युवाओं के लिए रोजगार के नए अवसर सृजित होंगे

    इस कदम से भारत में इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों और बैटरी के निर्माण को बढ़ावा मिलने की उम्मीद है। विशेषज्ञों का मानना है कि इससे न केवल विनिर्माण क्षेत्र को मजबूती मिलेगी, बल्कि रोजगार के नए अवसर भी पैदा होंगे। साथ ही यह कदम 'मेक इन इंडिया' अभियान को भी मजबूत करेगा।



  • Feb 01, 2025 12:40 IST

    बिहार में स्थापित होगा राष्ट्रीय खाद्य प्रौद्योगिकी संस्थान

    वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने खाद्य प्रसंस्करण (food processing) क्षेत्र को बढ़ावा देने के लिए बिहार में राष्ट्रीय खाद्य प्रौद्योगिकी संस्थान (National Institute of Food Technology) की स्थापना की घोषणा की है। 

    प्रमुख बिंदु:

    • इससे फ़ूड प्रोसेसिंग यानि खाद्य प्रसंस्करण क्षेत्र को नई दिशा
    • किसान अपनी फसल को अछे दाम पर बेंच पाएंगे जिससे उनकी आय में वृद्धि होगी
    • युवाओं को मिलेंगे रोजगार के नए अवसर

    वित्त मंत्री ने कहा कि यह संस्थान मूल्य संवर्धन के माध्यम से किसानों की आय बढ़ाने में मदद करेगा। साथ ही, युवाओं को कौशल विकास, उद्यमिता और रोजगार के नए अवसर प्रदान करेगा।



  • Feb 01, 2025 12:34 IST

    पीएम स्वनिधि योजना में बड़ा बदलाव, अब मिलेगी 30,000 रुपये तक की क्रेडिट सीमा

    वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने बजट भाषण में पीएम स्वनिधि योजना को और अधिक प्रभावी बनाने की घोषणा की। उन्होंने बताया कि इस योजना से अब तक 68 लाख से अधिक रेहड़ी-पटरी वालों को लाभ मिल चुका है।

    प्रमुख घोषणाएं:

    • योजना को नए स्वरूप में पेश किया जाएगा
    • बैंकों से मिलने वाले ऋण की सीमा बढ़ाई जाएगी
    • यूपीआई-लिंक्ड क्रेडिट कार्ड की सीमा 30,000 रुपये होगी

    वित्त मंत्री ने कहा कि यह कदम रेहड़ी-पटरी वालों को अनौपचारिक क्षेत्र के ऊंची ब्याज दर वाले कर्जों से राहत दिलाने में मददगार साबित होगा। नई व्यवस्था के तहत छोटे व्यापारियों को डिजिटल लेनदेन में सहूलियत मिलेगी और उनका वित्तीय समावेशन बढ़ेगा।



  • Feb 01, 2025 12:21 IST

    असम के नामरूप में होगी नए यूरिया संयंत्र की स्थापना

    एक बड़ी घोषणा में, वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने असम के नामरूप में एक नए यूरिया संयंत्र की स्थापना की योजना का ऐलान किया। यह नया संयंत्र देश में यूरिया की आपूर्ति को मजबूत करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा।

    प्रमुख बिंदु:

    • नए संयंत्र की वार्षिक उत्पादन क्षमता 1.27 मिलियन मीट्रिक टन होगी
    • पूर्वी क्षेत्र में तीन निष्क्रिय यूरिया संयंत्रों को पुनः चालू किया गया है
    • यह कदम किसानों को यूरिया की पर्याप्त और समय पर आपूर्ति सुनिश्चित करने में मदद करेगा

    वित्त मंत्री ने कहा कि यह पहल न केवल घरेलू यूरिया उत्पादन को बढ़ाएगी, बल्कि पूर्वोत्तर क्षेत्र में रोजगार के नए अवसर भी पैदा करेगी। पूर्वी क्षेत्र में पुनः चालू किए गए तीन संयंत्रों के साथ मिलकर, यह योजना देश को उर्वरक के क्षेत्र में आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।



  • Feb 01, 2025 11:53 IST

    बिहार में मखाना बोर्ड बनेगा, किसानों को मिलेगा फायदा

    केंद्रीय वित्त मंत्री ने बजट 2025 में बिहार में मखाना बोर्ड बनाने की घोषणा की है। यह बोर्ड मखाना उत्पादन, उसकी प्रोसेसिंग और बिक्री को बढ़ावा देगा। इससे बिहार के किसानों को ज्यादा लाभ मिलेगा और राज्य की कृषि अर्थव्यवस्था मजबूत होगी। सरकार का यह कदम मखाना की खेती करने वाले किसानों के लिए एक बड़ा अवसर है।



  • Feb 01, 2025 11:48 IST

    किसान क्रेडिट कार्ड पर बड़ी राहत, लोन सीमा बढ़ी

    केंद्रीय वित्त मंत्री ने बजट 2025 में किसान क्रेडिट कार्ड (KCC) के तहत लघु अवधि के ऋण (शॉर्ट-टर्म लोन) की सुविधा जारी रखने की घोषणा की है। इस योजना से 7.7 करोड़ किसानों, मछुआरों और डेयरी किसानों को लाभ मिलेगा।

    किसानों को बड़ी राहत: लोन सीमा में वृद्धि

    सरकार ने संशोधित ब्याज अनुदान योजना (Modified Interest Subvention Scheme) के तहत किसान क्रेडिट कार्ड पर मिलने वाले ऋण की सीमा ₹3 लाख से बढ़ाकर ₹5 लाख दी है। इससे किसानों को कृषि उत्पादन के लिए अधिक वित्तीय सहायता मिल सकेगी।

    इस योजना के तहत मिलने वाले लाभ

    • 7.7 करोड़ किसान, मछुआरे और डेयरी किसान इस योजना का लाभ उठा सकेंगे।

    • किसानों के लिए सस्ती ब्याज दरों पर लोन उपलब्ध होगा।

    • फसल उत्पादन, पशुपालन और मत्स्य पालन के लिए पूंजीगत जरूरतों को पूरा किया जा सकेगा।

    • बढ़ी हुई लोन सीमा से छोटे और मध्यम किसानों को आर्थिक मजबूती मिलेगी।



  • Feb 01, 2025 11:46 IST

    दालों के क्षेत्र में आत्मनिर्भरता के लिए 6 वर्षीय मिशन की घोषणा

    केंद्रीय वित्त मंत्री ने बजट 2025 में दालों में आत्मनिर्भरता प्राप्त करने के लिए एक छह वर्षीय मिशन शुरू करने की घोषणा की है। इस मिशन का विशेष फोकस तूर (अरहर) और मसूर दाल पर रहेगा, जिससे देश में दालों की उपलब्धता को सुनिश्चित किया जा सके और आयात पर निर्भरता कम की जा सके।

    सरकार की नई पहल: किसानों को मिलेगी गारंटीड खरीद

    इस मिशन के तहत केंद्रीय एजेंसियों जैसे नेफेड (NAFED) और एनसीसीएफ (NCCF) को किसानों से दालों की खरीद के लिए विशेष रूप से तैयार किया जाएगा। इस योजना के तहत:

    • जो किसान इन एजेंसियों के साथ पंजीकरण कराएंगे और समझौता करेंगे, उनकी उपज की सरकारी खरीद सुनिश्चित की जाएगी।
    • यह अगले चार वर्षों तक जारी रहेगा, जिससे किसानों को समर्थन और गारंटीड खरीद का लाभ मिलेगा।
    • तूर और मसूर दाल की खेती को बढ़ावा देने के लिए सरकार तकनीकी सहायता और वित्तीय मदद भी प्रदान करेगी।
    • दालों में आत्मनिर्भरता की ओर भारत का कदम

    सरकार का मानना है कि इस छह वर्षीय मिशन से किसानों को बेहतर दाम और स्थिर बाजार मिलेगा, जिससे दालों की घरेलू उत्पादन क्षमता में वृद्धि होगी। इस पहल से न केवल किसानों की आय में सुधार होगा, बल्कि उपभोक्ताओं को भी किफायती दरों पर दाल उपलब्ध कराई जा सकेगी।



  • Feb 01, 2025 11:42 IST

    केंद्रीय बजट में कृषि जिला कार्यक्रम की घोषणा, 100 जिलों को मिलेगा लाभ

    केंद्रीय वित्त मंत्री ने 2025 के बजट भाषण में कृषि क्षेत्र को प्राथमिकता बताते हुए प्रधानमंत्री कृषि योजना के तहत एक नई पहल की घोषणा की है। ‘कृषि जिला कार्यक्रम’ (agricultural district programme) नामक इस योजना को राज्यों के सहयोग से लागू किया जाएगा। यह कार्यक्रम ‘महत्वाकांक्षी जिला कार्यक्रम’ (Aspirational District Programme) की सफलता से प्रेरित है।

    100 जिलों को मिलेगा सीधा लाभ

    इस योजना के तहत 100 ऐसे जिलों को लक्षित किया जाएगा, जहां कृषि उत्पादकता कम है, फसल तीव्रता मध्यम है और कृषि ऋण प्राप्ति के मानक औसत से नीचे हैं।

    कार्यक्रम के प्रमुख उद्देश्य

    यह नई पहल देश के 1.7 करोड़ किसानों को लाभ पहुंचाने के उद्देश्य से शुरू की गई है। इसके अंतर्गत:

    • फसल विविधीकरण (Crop Diversification) को बढ़ावा दिया जाएगा।
    • टिकाऊ कृषि पद्धतियों (Sustainable Farming Practices) को अपनाया जाएगा।
    • पंचायत और ब्लॉक स्तर पर भंडारण सुविधाओं का विस्तार किया जाएगा।
    • सिंचाई सुविधाओं में सुधार कर किसानों को बेहतर संसाधन उपलब्ध कराए जाएंगे।
    • किसानों को दीर्घकालिक और अल्पकालिक कृषि ऋण तक आसानी से पहुंच सुनिश्चित की जाएगी।

    सरकार का मानना है कि इस ‘कृषि जिला कार्यक्रम’ से देश की खाद्य सुरक्षा को मजबूती मिलेगी और किसानों की आय में वृद्धि होगी। इससे न केवल कृषि क्षेत्र को नया प्रोत्साहन मिलेगा, बल्कि ग्रामीण अर्थव्यवस्था को भी मजबूती मिलेगी।

    बजट 2025 से जुड़ी अन्य महत्वपूर्ण घोषणाओं के लिए हमारे साथ बने रहें

     



  • Feb 01, 2025 10:40 IST

    आज 11 बजे संसद में पेश होगा बजट, मिडिल क्लास को राहत की उम्मीद

    संसद के बजट सत्र में केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण वित्त वर्ष 2025-26 के लिए भारत सरकार का बजट पेश करेंगी। सुबह 8:30 पे अपने घर से वित्त मंत्री मंत्रालय के लिए निकलीं। यहां से बजट की कॉपी लेकर वह राष्ट्रपति भवन पहुंची। यहां राष्ट्रपति को बजट कि कॉपी देने के बाद वित्त मंत्री संसद पहुंची हैं। 

    इस बजट में मिडिल क्लास को राहत की उम्मीद है। साथ ही किसानों के लिए नई घोषणाओं की भी उम्मीद है। 



  • Jan 28, 2025 00:00 IST

    प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना: 19वीं किस्त का ट्रांसफर 24 फरवरी को

    प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना के लाभार्थियों के लिए एक बड़ी खुशखबरी सामने आई है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 24 फरवरी 2025 को बिहार से इस योजना की 19वीं किस्त जारी करेंगे। कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने इस बारे में जानकारी दी। बता दें कि इससे पहले 18वीं किस्त 5 अक्टूबर 2024 को महाराष्ट्र से जारी की गई थी।

    प्रधानमंत्री किसान सम्मान निधि योजना का मुख्य उद्देश्य छोटे और सीमांत किसानों को वित्तीय सहायता प्रदान करना है। इस योजना के तहत किसानों को सालाना 6,000 रुपये की मदद तीन किस्तों में दी जाती है, हर किस्त में 2,000 रुपये ट्रांसफर किए जाते हैं।

    फरवरी 2019 में इस योजना की शुरुआत के बाद से अब तक 9.5 करोड़ से अधिक किसान रजिस्टर्ड हो चुके हैं।



  • Jan 27, 2025 23:48 IST

    देश भर में 655 लाख एकड़ से ज़्यादा में हुई रबी फसलों की बुआई

    भारत में रबी फसलों के क्षेत्र में उल्लेखनीय वृद्धि देखी गई है। इस सीजन में कुल 655.88 लाख हेक्टेयर क्षेत्र में रबी फसलों की बुआई की गई है, जबकि पिछले वर्ष इसी समय यह आंकड़ा 643.72 लाख हेक्टेयर था।

    इस साल गेहूं की बुआई बढ़कर 324.38 लाख हेक्टेयर हो गई है, जो पिछले वर्ष 315.63 लाख हेक्टेयर थी। इस वृद्धि से गेहूं उत्पादन में वृद्धि की संभावना है। विशेषज्ञों का कहना है कि सर्दियों की बारिश फसल को और लाभ पहुंचाएगी। इसके अलावा, दालों के लिए क्षेत्र बढ़कर 142.49 लाख हेक्टेयर हो गया है, जो पिछले वर्ष 139.29 लाख हेक्टेयर था।

    श्रीअन्न और मोटे अनाजों की बुआई 55.67 लाख हेक्टेयर में की गई है, जबकि तिलहन का क्षेत्र 98.18 लाख हेक्टेयर पर पहुंच गया है।

    विशेषज्ञों का कहना है कि गेहूं और दाल के उत्पादन में वृद्धि अच्छा संकेत है। इससे महंगाई में राहत मिलने के आसार हैं। 



  • Jan 27, 2025 14:24 IST

    शिवराज सिंह चौहान ने गणतंत्र दिवस पर किसानों से की मुलाकात

    केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने 76वें गणतंत्र दिवस पर पूसा परिसर में किसानों से मुलाकात की। उन्होंने कहा कि किसान हमारे भगवान हैं और उनकी सेवा करना भगवान की सेवा करने के समान है। इस मौके पर उन्होंने MSP, प्राकृतिक खेती, फसल विविधिकरण और किसानों को टेक्नोलॉजी से जोड़ने पर चर्चा की।



  • Jan 24, 2025 13:54 IST

    इंदौर मंडी में आज के भाव: अनाज और सब्जियों के दाम में बड़ा बदलाव

    इंदौर मंडी में आज अनाज और सब्जियों के दाम में बड़ा बदलाव देखा गया। गेहूं के दाम में 1400 रुपये की मंदी आई, जबकि सोयाबिन में 700 रुपये की मंदी देखी गई। डॉलर चना, देसी चना, मक्का, तुअर और मूंग के दाम में भी बदलाव हुआ।

    आज के भाव की जानकारी निम्नलिखित है:

    - गेहूं: 1400 रुपये की मंदी
    - सोयाबिन: 700 रुपये की मंदी
    - डॉलर चना: 2000 रुपये की मंदी
    - देसी चना: 2800 रुपये की मंदी
    - मक्का: 700 रुपये की मंदी
    - तुअर: 700 रुपये की मंदी
    - मूंग: 100 रुपये की मंदी



  • Jan 24, 2025 13:51 IST

    मध्यप्रदेश में गेंहूं की बिक्री के लिए पंजीयन की आखिरी तिथि 31 मार्च

    मध्य प्रदेश सरकार ने किसानों की आर्थिक स्थिति सुधारने के लिए गेहूं का समर्थन मूल्य बढ़ाकर 2425 रुपए प्रति क्विंटल कर दिया है, जो पिछले वर्ष की तुलना में 150 रुपए अधिक है। यह कदम खेती को प्रोत्साहित करने और किसानों को बेहतर लाभ दिलाने के लिए उठाया गया है।

    किसान गेहूं बेचने के लिए 31 मार्च 2025 तक रेजिस्ट्रेशन कर सकते हैं। यह पंजीकरण "किसान एप" (Kisan App) के माध्यम से घर बैठे किया जा सकता है। इसके अलावा, पंचायत और तहसील कार्यालयों में भी नि:शुल्क पंजीकरण की सुविधा उपलब्ध है।



  • Jan 23, 2025 12:07 IST

    गेहूं खरीद के लिए किसानों का पंजीयन शुरू

    वर्ष 2025-26 के लिए गेहूं की खरीद करने के लिए किसानों का पंजीयन शुरू कर दिया गया है। किसान ई उपार्जन पोर्टल https://mpeuprajan.nic.in के माध्यम से पंजीयन कर सकते है। इसके अलावा किसान एप के माध्यम से भी पंजीयन किया जा सकता है। सहकारी समिति एवं विपणन संस्थाओं द्वारा संचालित रजिस्ट्रेशन सेंटर, ग्राम पंचायत/जनपद पंचायत/तहसील कार्यालय में स्थापित सुविधा केंद्र पर भी निः शुल्क पंजीयन की सुविधा उपलब्ध है। मध्य प्रदेश में गेहूं उपार्जन के लिये समर्थन मूल्य 2425 रूपये प्रति क्विंटल निर्धारित किया गया है, जो बीते वर्ष की तुलना में 150 रूपये प्रति क्विंटल अधिक है।



  • Jan 23, 2025 12:03 IST

    मध्य प्रदेश की प्रमुख मंडियों में 21 जनवरी 2025 को गेहूं के रेट

    मध्य प्रदेश की प्रमुख मंडियों में 21 जनवरी को निम्नानुसार गेहूं का रेट रहा

     मंडी 

    आवक (टन में)

    न्यूनतम रेट (रु./क्विं.)

    अधिकतम रेट (रु./क्विं.)

    मोडल रेट (रु./क्विं.)

    आगर

    10.84

    2882

    3109

    3104

    अनुपपुर

    3.5

    2800

    2800

    2800

    अशोकनगर

    10.06

    2979

    4235

    4235

    आष्टा

    4.6

    2870

    3152

    3152

    बदामलहेड़ा

    64.83

    2700

    2750

    2750

    बड़नगर

    43.03

    2856

    3015

    3015

    बदनावर

    33

    3025

    3200

    3155

    बडवाहा

    0.71

    3025

    3025

    3025

    बानापुरा

    41.95

    2890

    3050

    3050

    ब्यौहारी

    38

    2800

    2860

    2850

    बैरसिया

    7.37

    2936

    3145

    3145

    भिंड

    7.5

    2950

    2950

    2950

    ब्यावरा

    34.88

    2700

    3135

    3010

    बिजावर

    24.5

    2700

    2730

    2730

    बीना

    19.07

    2900

    3101

    3101

    चाकघाट

    4.5

    2800

    2800

    2800

    चौरई

    1.89

    2901

    2990

    2990

    देवास

    88.19

    2500

    3184

    2950

    धार

    34.41

    2811

    2811

    2811

    डिंडोरी

    6.4

    2500

    2750

    2750

    गंज बासौदा

    0.38

    2913

    2913

    2913

    गोरखपुर

    7.5

    2800

    2810

    2810

    गुना

    24.75

    2975

    4130

    4130

    हरदा

    97.6

    2895

    3151

    3024

    हरसूद

    0.87

    2961

    2979

    2979

    इंदौर

    69.85

    2931

    3184

    2931

    इटारसी

    2.53

    2400

    3061

    3061

    जावरा

    40.69

    2951

    3211

    3210

    जतारा

    52.62

    2600

    2600

    2600

    जोबट

    15.1

    2900

    2900

    2900

    कालापीपल

    42.88

    2503

    2600

    2600

    करेली

    7.07

    2911

    3000

    3000

    कसरावद

    10.13

    2900

    3100

    3100

    कटनी

    19.6

    1950

    2800

    2800

    खंडवा

    48.43

    2936

    3200

    3097

    खरगापुर

    65.3

    2800

    2840

    2800

    खरगोन

    11.23

    2885

    3000

    3000

    खातेगांव

    20.87

    3081

    3095

    3095

    खिरकिया

    15.63

    2972

    3012

    3009

    खुरई

    2.56

    2810

    3550

    2850

    कुरावर

    21.3

    2965

    3115

    3105

    लवकुश नगर(लौंदी)

    1

    2800

    2800

    2800

    मनावर

    1.08

    2960

    3025

    3025

    मंडला

    22.3

    2600

    2605

    2605

    मन्दसौर

    10.34

    2999

    3173

    3150

    मैहर

    35.5

    2800

    2800

    2800

    मऊ

    8.72

    3161

    3262

    3262

    मोहगांव

    12

    2425

    2425

    2425

    मुरैना

    13.5

    3041

    3067

    3067

    नरसिंहपुर

    1.84

    2901

    2901

    2901

    नसरुल्लागंज

    35.01

    2925

    3100

    3019

    नौगांव

    55.8

    2650

    2700

    2700

    नीमच

    9.27

    3084

    3225

    3225

    पाटन

    25.13

    3005

    3080

    3025

    पचौर

    0.5

    2986

    2986

    2986

    पवई

    1.3

    2600

    2600

    2600

    पिपरिया

    27.02

    2935

    3041

    3041

    पिपल्या

    0.12

    2951

    2975

    2975

    राजनगर

    84.1

    2700

    2800

    2700

    सागर

    2.15

    2925

    2930

    2930

    सैलाना

    0.34

    2900

    3099

    3099

    सनावद

    8.61

    2980

    3066

    3041

    सांवेर

    13.73

    1100

    3150

    3150

    सतना

    25.8

    2845

    2855

    2850

    सीहोरा

    38.14

    2967

    3017

    3007

    सीहोर

    4.5

    2989

    3128

    3128

    शाहगढ़

    21

    2800

    2800

    2800

    शाहपुरा(जबलपुर)

    3.6

    2775

    2775

    2775

    शामगढ़

    1.12

    2891

    2911

    2911

    शुजालपुर

    3.36

    2940

    3109

    3109

    सीधी

    25

    2505

    2505

    2505

    सोनकैच

    2.42

    3040

    3120

    3070

    तराना

    18.85

    2340

    2901

    2901

    टिमरनी

    53.19

    2000

    3075

    3025

    उज्जैन

    11.82

    2917

    3125

    3125

    उमरिया

    6

    2750

    2750

    2750

     



  • Jan 22, 2025 20:18 IST

    कच्चे जूट का न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) 2025-26 के लिए बढ़ा

    प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में आर्थिक मामलों की मंत्रिमंडलीय समिति (सीसीईए) ने मार्केटिंग सीजन 2025-26 के लिए कच्चे जूट (टीडी-3 श्रेणी) का न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) 5,650 रुपये प्रति क्विंटल निर्धारित किया है। यह पिछले मार्केटिंग सीजन 2024-25 से 315 रुपये प्रति क्विंटल अधिक है।

    • 2025-26 के लिए एमएसपी: 5,650 रुपये प्रति क्विंटल
    • वृद्धि: 2024-25 की तुलना में 315 रुपये/क्विंटल अधिक
    • 2014-15 से 2025-26 तक की वृद्धि: 2400 रुपये से 5,650 रुपये तक, 2.35 गुना बढ़ोतरी
    • कच्चे जूट के एमएसपी में वृद्धि: 3,250 रुपये प्रति क्विंटल

    कच्चे जूट के एमएसपी में इस वृद्धि से 40 लाख कृषक परिवारों की आय में सुधार होगा, जिनकी आजीविका जूट उद्योग पर निर्भर है। पश्चिम बंगाल, असम और बिहार के किसान जूट उत्पादन में मुख्य भूमिका निभाते हैं।

    भारतीय पटसन निगम (जेसीआई) एमएसपी संचालन करेगा, और अगर कोई हानि होती है, तो उसे केंद्र सरकार द्वारा पूरा किया जाएगा।



  • Jan 22, 2025 12:19 IST

    जानिए 21 जनवरी 2025 से 22 जनवरी 2025 के बीच सीहोर मंडी में आवक, न्यूनतम दर और उच्चतम दर का हाल

     

    फसल

    कुल आवक (टन में)

    न्यूनतम दर

    उच्चतम दर

    मॉडल दर

    लहसुन

    20.279800

    2900.0000

    21800.0000

    9100.0000

    सोयाबीन

    341.615000

    2697.0000

    4351.0000

    4250.0000

    चना

    1.108000

    4300.0000

    5401.0000

    5401.0000

    तुअर/अरहर

    0.368000

    6500.0000

    6500.0000

    6500.0000

    मसूर या मसूरी

    0.163000

    5510.0000

    5510.0000

    5510.0000

    गेहूं

    79.962000

    2440.0000

    3500.0000

    3139.0000

    प्याज

    1.961900

    915.0000

    1818.0000

    915.0000

     



  • Jan 22, 2025 12:10 IST

    21 जनवरी 2025 से 22 जनवरी 2025 के बीच भोपाल मंडी में आवक, न्यूनतम दर और उच्चतम दर का हाल

     

    फसल

    कुल आवक (टन में)

    न्यूनतम दर

    उचत्तम दर

    मॉडल दर

    लहसुन

    27.230500

    2300.0000

    18600.0000

    10000.0000

    सोयाबीन

    16.544000

    3711.0000

    4152.0000

    3711.0000

    चना

    0.094000

    5480.0000

    5480.0000

    5480.0000

    गेहूं

    48.889000

    2900.0000

    3422.0000

    2959.0000

    धान

    356.862000

    2135.0000

    3310.0000

    2600.0000

     



  • Jan 22, 2025 11:51 IST

    भारत में कॉफी के निर्यात में बढ़ोत्तरी 

    आज भारत विश्व में कॉफी का सातवां सबसे बड़ा उत्पादक है। वित्तवर्ष  2023-24 में कॉफी निर्यात लगभग 10,853 करोड़ रुपये तक पहुंच चुका है। यह वित्तवर्ष 2020-21 में लगभग 5,925 करोड़ रुपये था। भारत का कॉफी निर्यात लगातार बढ़ रहा है। जनवरी 2025 के पहले हाफ में भारत ने 9,300 टन से अधिक कॉफी का निर्यात किया, जिनमें इटली, बेल्जियम, और रूस प्रमुख खरीदार रहे।

    भारत में उत्पादित कॉफी का लगभग तीन-चौथाई हिस्सा अरेबिका और रोबस्टा बीन्स का होता है, जो ज्यादातर कच्चे रूप में निर्यात होते हैं। हालांकि, रोस्टेड और इंस्टेंट कॉफी की मांग में भी तेजी आई है, जिससे निर्यात में और भी बढ़ोतरी हो रही है।



  • Jan 22, 2025 11:04 IST

    रबी की फसलों को लेकर कृषि मंत्री ने ली बैठक

    केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने मंत्रालय के अधिकारियों के साथ उच्चस्त्ररिय बैठक की। 20 जनवरी को हुई इस बैठक में उन्होंने रबी सीजन में बुवाई की स्थिती के बारे में जानकारी ली। इसके अलावा उन्होंने पेस्ट सर्विलांस सिस्टम के बारे में भी जानकारी ली। 
    17 जनवरी 2025 तक रबी फसलों की बुआई 640 लाख हेक्टेयर तक पहुंच गई है, जो पिछले वर्ष के 637.49 लाख हेक्टेयर से 2.51 लाख हेक्टेयर अधिक है। अधिकारियों ने बताया कि इस साल कुल फसल क्षेत्र और स्थितियां पिछले साल की तुलना में बेहतर हैं।
    इस वर्ष टमाटर, प्याज और आलू (TOP) फसलों की बुआई में भी महत्वपूर्ण प्रगति देखी गई है, और इस समय के दौरान इन फसलों की बुआई पिछले साल की तुलना में अधिक दर्ज की गई है।