ग्राउंड रिपोर्ट, ललित कुमार सिंह:
देश में कोरोना मामलों की संख्या रोज़ बढ़ रही है. आज कुल मामले 5,194 हो गए और मरने वालों की बात करें तो अभी तक इस वायरस ने 149 लोगों की जान ले ली है. इस बीच सोशल मीडिया पर मथुरा जेल में बंद डॉक्टर कफील खान की रिहाई की मांग शुरू हो गयी है. हमारे देश में हालत पर काबू पाने और पीड़ितों के इलाज को स्वस्थ्य कर्मी पूरी जान से जुटें हैं. लोगो का कहना है कि ऐसे संकट में एक काबिल डॉक्टर का जेल में होना दुर्भाग्यपूर्ण है.
ट्विटर पर ट्रेंड कर रहा है कफील खान की रिहाई मांगने वाला हैशटैग, #ReleaseDrKafeelkhan. अब तक इस हैशटैग के 30 हज़ार से भी ज्यादा ट्वीट्स हो चुके हैं.
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कफील खान की रिहाई की मांग में हंसराज मीणा लिखते हैं, “प्रिय, देशवासियों। देश कोरोना जैसी विकट ग्लोबली महामारी से जूझ रहा है। लॉकडाउन सरकार का एक अच्छा प्रयास है। लेकिन इस माहमारी में देश के एक जुझारू डॉक्टर को दुर्भावनापूर्ण सलाखों में बंद कर देना,हमें कचोटता है। आओ उनको इस संकट में बाहर निकलवाने का प्रयास करें। #ReleaseDrKafeelKhan“
वहीँ कांग्रेस के सचिन चौधरी ने ट्वीट कर लिखा, “द्वेषपूर्ण भावना के तहत निडर निर्भीक डॉ @drkafeelkhan के ऊपर रासुका लगाकर जेल में बंद कर देना निंदनीय है, डॉक्टर के लिए मानवता की सेवा ही सर्वोपरि है। डॉ काफिल को सरकार तुरंत रिहाई दे और कोरोना के मरीजों का इलाज करनें की अनुमति भी दे। #ReleaseDrKafeelKhan“
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डॉक्टर कफील खान कुछ दिन पहले प्रधानमंत्री मोदी को एक चिट्ठी लिखी थी. उस चिट्ठी में उन्होंने भारत में कोरोना की महामारी से बचाने के लिए CORONA STAGE-3 के खिलाफ एक रोडमैप का ज़िक्र किया था. उन्होंने लिखा था “20 वर्ष के अनुभव के आधार पर कोरोना स्टेज ३ के खिलाफ कैसे लड़ा जाए, उसका रोड मैप आपको देना चाहता हूँ. जिससे इस महामारी से फैलते संक्रमण पर अंकुश लगाया जा सके”.
प्रधानमंत्री मोदी को लिखा उनका पत्र…
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डॉक्टर कफील खान को यूपी पुलिस ने दिसंबर में अलीगढ मुस्लिम यूनिवर्सिटी में भड़काऊ के आरोप में गिरफ्तार किया था. लेकिन फरवरी में उनकी रिहाई से पहले उनपर राष्ट्रीय सुरक्षा कानून लगा कर रिहाई को टाल दिया गया. कोरोना वायरस के बढ़ते प्रकोप देखते हुए सुप्रीम कोर्ट ने योगी सरकार को 11 हज़ार बंदियों को जेल से छोड़ने के निर्देश दिए थे. लेकिन फिर भी 28 मार्च को आर्डर आने के बाद भी उनकी रिहाई नहीं हुई. डॉक्टर कफील खान को गोरखपुर में हुई एन्सेफलीटीस से कई बच्चो की मौत के मामले में क्लीन चिट मिल चुकी है.
hmare desh me yahi ek kami h jo kabil dr h jaise dr kafil khan unko jail me band rakha gya h or jo sirf naam k dr h sambit patra jo ghar me chhupe baithe h abi is time me dr ko ghar me nhi hospital me hona chahye
plz dr kafil khan ko jel se riha kr k logo ki seva krne ka mauka dya jaye